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Crime news: अश्लील वीडियो और शोषण, औरैया में पिज्जा हब संचालक की दरिंदगी, पुलिस ने कार्रवाई की

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Crime news: उत्तर प्रदेश के औरैया जिले में एक खौ़फनाक मामला सामने आया है, जहां एक पिज्जा सेंटर के संचालक ने लड़कियों और लड़कों के निजी वीडियो बनाकर उन्हें ब्लैकमेल किया। ये वीडियो पिज्जा सेंटर के निजी केबिन में बैठकर खाना खाने के दौरान बनाए जाते थे, और बाद में उन वीडियो को दिखाकर लड़कियों को शारीरिक संबंध बनाने के लिए मजबूर किया जाता था। जब इस मामले की शिकायत पुलिस में की गई, तो पुलिस ने तुरंत जांच शुरू की और पाया कि आरोप सही हैं। इसके बाद पुलिस ने दो आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया और पिज्जा सेंटर को सील कर दिया।

मामला कैसे सामने आया

यह घटना औरैया जिले के बिधूना कोतवाली क्षेत्र के एक पिज्जा सेंटर की है। यह सेंटर ‘Zaika Pizza Hub’ के नाम से जाना जाता है। शिकायतकर्ता ने पुलिस को एक लिखित शिकायत दी, जिसमें उसने बताया कि पिज्जा सेंटर का मालिक हसनैन सिद्धीकी लड़कियों और लड़कों के निजी वीडियो बनाता था। इन वीडियो के जरिए वह लड़कियों को ब्लैकमेल करता और उन्हें शारीरिक संबंध बनाने के लिए दबाव डालता। इस तरह के अपराध की शिकार हुई एक लड़की ने इस बारे में सामाजिक कार्यकर्ता भानु ठाकुर से संपर्क किया, जिन्होंने इस मामले को उजागर किया।

Crime news: अश्लील वीडियो और शोषण, औरैया में पिज्जा हब संचालक की दरिंदगी, पुलिस ने कार्रवाई की

पुलिस की कार्रवाई

भानु ठाकुर ने पुलिस को मामले के बारे में जानकारी दी, जिसके बाद पुलिस ने त्वरित कार्रवाई की और जांच शुरू की। जांच के दौरान पता चला कि इस पिज्जा सेंटर के केबिनों में छुपा हुआ एक छेद था, जिसके जरिए सेंटर के संचालक वीडियो बनाते थे। इन वीडियो को लड़कियों को दिखाकर उन्हें मानसिक और शारीरिक रूप से शोषित किया जाता था। पुलिस ने इस मामले में आईपीसी की संबंधित धाराओं के तहत केस दर्ज किया और पाया कि आरोप सही हैं। पुलिस ने दो आरोपियों हसनैन सिद्धीकी और अयान को गिरफ्तार कर लिया और पिज्जा सेंटर को सील कर दिया। इसके बाद आरोपी को अदालत में पेश किया गया।

भानु ठाकुर का विरोध

भानु ठाकुर ने बताया कि इस पिज्जा सेंटर के संचालक के खिलाफ उन्होंने पहले भी विरोध किया था। करीब 10 दिन पहले उन्होंने एक आवेदन पुलिस को दिया था, जिसमें आरोप था कि पिज्जा सेंटर के संचालक ने एक लड़की को वीडियो बनाकर ब्लैकमेल किया था। इसके बाद भानु ठाकुर ने हसनैन सिद्धीकी से इस तरह के अपराध से बाज आने की अपील की थी, लेकिन इसके बावजूद पिज्जा सेंटर के संचालक ने अपनी दरिंदगी जारी रखी।

रंजिश और हमले का मामला

2 दिसंबर को भानु ठाकुर और उनके दोस्त आर्यन भदोरिया पर हसनैन सिद्धीकी और उसके साथी ने हमला किया। भानु और आर्यन मोटरसाइकिल से चर्कुआ जा रहे थे, जब हसनैन और उसके साथी ने उनकी कार को रोकने की कोशिश की। इससे भानु और आर्यन गिर गए और दोनों को गंभीर चोटें आईं। भानु ठाकुर ने बताया कि इस हमले के बाद वह और उनका दोस्त गंभीर रूप से घायल हो गए, लेकिन इसके बावजूद वह मामले की शिकायत लेकर पुलिस के पास पहुंचे।

पुलिस का बयान

क्षेत्राधिकारी भारत पासवान ने इस पूरे मामले की जानकारी दी और बताया कि पुलिस को लिखित शिकायत मिली थी, जिसमें आरोप था कि अछल्दा रोड स्थित पिज्जा सेंटर के निजी केबिनों में एक छेद बना हुआ था, जिसके जरिए वीडियो बनाए जाते थे। इसके बाद पुलिस ने मामले की जांच की और पाया कि आरोप सही हैं। पुलिस ने इस मामले में कार्रवाई करते हुए पिज्जा सेंटर को सील कर दिया और दो आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया। आरोपियों की पहचान हसनैन सिद्धीकी और अयान के रूप में हुई है।

आरोपी की गिरफ्तारी और कानूनी कार्रवाई

पुलिस ने इस मामले में आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया और उन्हें कोर्ट में पेश किया। मामले की गहरी जांच की जा रही है, और पुलिस अन्य संबंधित तथ्यों को उजागर करने की कोशिश कर रही है। इस तरह के अपराधों से निपटने के लिए पुलिस ने क्षेत्रीय अधिकारियों को और कड़ी निगरानी रखने की सलाह दी है।

पिज्जा सेंटर का सील किया जाना

पुलिस ने पिज्जा हब को सील कर दिया और इस मामले में सख्त कानूनी कार्रवाई की है। अधिकारियों का कहना है कि इस प्रकार के अपराधों को किसी भी हालत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा, और दोषियों के खिलाफ कठोर से कठोर सजा दिलवाने का प्रयास किया जाएगा।

समाज में चेतावनी

यह घटना समाज में बढ़ते हुए शोषण और साइबर अपराधों की ओर इशारा करती है। इस घटना ने यह साफ कर दिया है कि ऐसे अपराधी किसी भी तरीके से समाज के युवा वर्ग को अपनी ओर आकर्षित करते हैं और फिर उनका शोषण करते हैं। यह घटना सभी के लिए एक चेतावनी है कि हमें ऐसे मामलों में सतर्क रहना चाहिए और किसी भी प्रकार के शोषण का विरोध करना चाहिए।

इस घटना ने यह भी साबित कर दिया है कि यदि हम सही समय पर आवाज उठाएं तो समाज में बदलाव लाया जा सकता है। पुलिस और समाजिक कार्यकर्ताओं की मदद से कई जीवनों को बचाया जा सकता है और अपराधियों को उनके कुकृत्यों के लिए सजा दिलवायी जा सकती है।

यह घटना न केवल औरैया जिले बल्कि पूरे प्रदेश में इस तरह के अपराधों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की आवश्यकता को रेखांकित करती है। समाज में शोषण की इन घटनाओं को रोकने के लिए जागरूकता और सख्त कानूनों की जरूरत है। साथ ही, समाज में इस तरह के अपराधों के खिलाफ एक मजबूत विरोध अभियान चलाने की आवश्यकता है, ताकि लड़कियों और लड़कों को ऐसे खतरों से बचाया जा सके।

पुलिस की त्वरित कार्रवाई और सामाजिक कार्यकर्ताओं की भूमिका इस मामले में सराहनीय रही है, और आशा है कि ऐसे मामलों में भविष्य में और अधिक सख्त कदम उठाए जाएंगे।

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