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Disappointment: सुना रहा हरिद्वार क्या आगे हो पाएगा गुलजार? तीन दिग्गजों की किस्मत का है, खेल कौन होगा पास कौन होगा फेल!

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धामी मंत्री मंडल में जनपद हरिद्वार की हिस्सेदारी न होने से जनपद वासियों में निराशा, पंचायत चुनाव पर पड़ सकता है असर!

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रुड़की। प्रदेश में दोबारा से फिर पुष्कर सिंह धामी को सरकार के कमान सौंपकर मुख्यमंत्री बनाए जाने से भले ही भाजपाइयों में खुशी की लहर हो लेकिन धामी मंत्री मंडल में जनपद हरिद्वार की हिस्सेदारी न होने से जनपद वासियों में निराशा का भी माहौल है। धामी मंत्रिमंडल में हरिद्वार जनपद की हिस्सेदारी न होने को लेकर सियासी गलियारों में कई तरह के मायने निकाले जा रहे हैं। कुछ का कहना है कि जनपद हरिद्वार में भाजपा विधायकों की संख्या घटने के कारण जनपद हरिद्वार को मंत्रिमंडल में हिस्सेदारी से दूर रखा गया है। तो वहीं कुछ का कहना है कि आगामी समय में होने वाले मंत्रिमंडल विस्तार में जनपद हरिद्वार के किसी एक विधायक को हिस्सेदारी मिल सकती है।

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इसके अलावा भी सियासी गलियारों में कई तरह के अन्य सवाल भी तैर रहे हैं। साल 2017 के विधानसभा चुनाव में भाजपा ने जनपद हरिद्वार में बेहतर प्रदर्शन करते हुए 9 विधानसभा सीटों पर कब्जा किया था। जबकि कांग्रेस को मात्र 3 सीटें मिली थी। लेकिन अभी हाल ही में हुए विधानसभा चुनाव में भाजपा विधायकों की संख्या 9 से घटकर 3 रह गई है। इस चुनाव में भाजपा को हरिद्वार, रुड़की व रानीपुर सीट मिली है। जबकि कांग्रेस तीन से बढ़कर 5 सीटों पर पहुंच गई जिनमें झबरेडा, भगवानपुर, पिरान कलियर, ज्वालापुर, हरिद्वार ग्रामीण शामिल है तो वही बसपा ने लक्सर व मंगलौर सीट पर कब्जा जमाया तो खानपुर की सीट निर्दलीय के खाते में चली गई।

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चुनावी नतीजे आने के बाद कयास लगाए जा रहे थे कि जब भी मंत्रिमंडल का गठन होगा उसमें जनपद हरिद्वार को हिस्सेदारी मिलेगी क्योंकि 2017 के चुनाव के बाद हरिद्वार विधायक मदन कौशिक को कैबिनेट मंत्री बनाया गया था लेकिन इसके बाद जब कमान तीरथ सिंह रावत व पुष्कर सिंह धामी के हाथों में आई तो हरिद्वार विधायक मदन कौशिक को मंत्रिमंडल से हटा कर प्रदेश अध्यक्ष बना दिया गया था और हरिद्वार ग्रामीण से विधायक स्वामी यतिस्वरानंद को मंत्रिमंडल में शामिल कर लिया गया था। अब जबकि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी दोबारा से सूबे की सरकार की कमान संभाल चुके हैं और 8 विधायकों को मंत्रिमंडल में शामिल किया गया है। लेकिन इन 8 मंत्रियों में जनपद हरिद्वार की भागेदारी नहीं है।

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एक तरफ जहां पुष्कर सिंह धामी के मुख्यमंत्री बनने से भाजपाइयों में खुशी की लहर है वही मंत्रिमंडल में हिस्सेदारी न मिलने से निराशा का भी माहौल देखा जा रहा है। इसको लेकर सियासी गलियारों में तरह-तरह की चर्चाएं व्याप्त है। कुछ का कहना है जनपद हरिद्वार में विधायकों की संख्या घटने के कारण भाजपा के विधायक को मंत्रिमंडल में शामिल नहीं किया गया है तो वहीं कुछ का कहना है कि आगामी होने वाले विस्तार में जनपद हरिद्वार को हिस्सेदारी मिल सकती है। कुछ का तो यहां तक कहना है कि हरिद्वार विधायक मदन कौशिक को राज्यसभा में भेजा जा सकता है।

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अब जबकि जनपद हरिद्वार में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव भी होने हैं ऐसे में मंत्री मंडल में जनपद हरिद्वार की हिस्सेदारी न होने का मुद्दा भी विरोधियों द्वारा उछाला जा सकता है। इसके अलावा भी मंत्रिमंडल में जनपद हरिद्वार की भागीदारी न होने से सियासी गलियारों में अनेक तरह के सवाल उठ रहे हैं।

Manoj kumar

Editor-in-chief

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