Ashok Kumar Garg murder case: आरोपी ने अपराध को छिपाने के लिए 24 घंटे बाद किया रक्तरंजित कपड़े और कटर फेंकने का खुलासा
Ashok Kumar Garg murder case: अलकनंदा एन्क्लेव में 76 वर्षीय अशोक कुमार गर्ग की हत्या की गुत्थी अब सुलझ चुकी है। इस अपराध में शामिल दोनों आरोपियों ने घटना के 24 घंटे बाद कटर और खून से सने कपड़े एक सुनसान स्थान पर फेंकने का खुलासा किया। पुलिस ने आरोपियों की निशानदेही पर शुक्रवार को कटर और कपड़े बरामद किए। दोनों आरोपियों को अदालत में पेश किया गया, जहां उन्हें न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया।
घटना का पूरा विवरण
अशोक कुमार गर्ग, जो कि ONGC से सेवानिवृत्त इंजीनियर थे, 9 दिसंबर को अपने घर में मृत पाए गए थे। उनका गला और पेट तेज धार वाले हथियार से काटा गया था। घटना के बाद, पुलिस ने मामले की जांच शुरू की और CCTV फुटेज के आधार पर दो संदिग्धों को पकड़ा। यह दोनों आरोपी, नवीन कुमार चौधरी और अनंत जैन, पहले से एक-दूसरे को जानते थे और यह हत्या एक लूट की योजना का हिस्सा थी।
जांच में पता चला कि आरोपियों ने पहले से ही अशोक कुमार गर्ग को लूटने का प्लान तैयार किया था। उन्होंने 9 दिसंबर को दोपहर 12:30 बजे गर्ग के घर का दौरा किया था, और यह पता चला कि गर्ग अकेले रहते थे और उनके बैंक खाते में काफी पैसा था। इसके बाद दोनों आरोपियों ने मिलकर उन्हें लूटने की योजना बनाई। वे गर्ग से उनका ATM कार्ड छीनने में सफल रहे और उनसे पासवर्ड पूछने लगे। लेकिन जब उन्होंने पासवर्ड नहीं बताया, तो दोनों ने उसे तेज धार वाले कटर से हत्या कर दी।
कटर और कपड़े की बरामदगी
हत्या के बाद, आरोपी घटनास्थल से भागकर अपने घर चले गए और 24 घंटे तक पुलिस को गुमराह करते रहे। इसके बाद, दोनों आरोपियों ने पुलिस से यह स्वीकार किया कि उन्होंने अपराध के बाद खून से सने कपड़े और कटर को एक सुनसान जगह पर फेंक दिया था। पुलिस ने दोनों आरोपियों की निशानदेही पर कैनल रोड पर स्थित एक खाली प्लॉट से कटर और खून से सने कपड़े बरामद किए।
एसएसपी अजय सिंह ने बताया कि आरोपियों ने कपड़ों और कटर को एक बैग में रखा था, जिसे उन्होंने मुख्य सड़क से 30-40 मीटर दूर फेंक दिया था। यह स्थान किसी के लिए भी आसानी से पहुंचने योग्य नहीं था, क्योंकि सड़क पर असमानताएं थीं और कोई भी वहां ज्यादा नहीं जाता था। अगर किसी ने उस बैग को देखा होता, तो यह पुलिस के लिए और भी चुनौतीपूर्ण हो सकता था।
क्राइम पेट्रोल से प्रेरित थी योजना
आरोपियों से पूछताछ में यह भी खुलासा हुआ कि वे ‘क्राइम पेट्रोल’ नामक टीवी शो से प्रेरित होकर इस अपराध को अंजाम देने की योजना बना रहे थे। उन्होंने सोचा था कि वह गर्ग को धमका कर पैसे लूटेंगे, लेकिन जब गर्ग ने विरोध किया और अनंत को पहचान लिया, तो उन्होंने उसे मार डालने का फैसला किया। पुलिस ने दोनों आरोपियों से लगातार पूछताछ की, लेकिन वे घटना के बाद भी कपड़े और कटर को लेकर पुलिस को गुमराह करते रहे।
आरोपियों का संबंध और गिरफ्तारी
नवीन कुमार चौधरी और अनंत जैन दोनों एक-दूसरे के पुराने दोस्त थे। नवीन मेरठ जिले के खेड़ी गांव का निवासी है, जबकि अनंत जैन बागपत जिले के जैन मोहल्ला, बारौत का रहने वाला है। पुलिस ने इन दोनों को 12 दिसंबर की रात गिरफ्तार किया। इसके बाद इनसे हुई पूछताछ में मामले का खुलासा हुआ और पुलिस ने दोनों को अदालत में पेश किया, जहां उन्हें न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया।
अनंत जैन के परिवार का बयान
अनंत जैन के परिवार वाले जब इस घटना के बारे में जानते हुए देहरादून पहुंचे, तो उन्होंने पुलिस से बातचीत की। परिवार ने बताया कि वे अभी भी यह विश्वास नहीं कर पा रहे थे कि अनंत ने ऐसा अपराध किया होगा। अनंत ने अपनी पढ़ाई में बीए. एल.एल.बी. किया था, लेकिन कानून में ज्यादा फायदा न होने के कारण उसने वित्तीय काम में कदम रखा था। परिवार का कहना है कि यह घटना उनके लिए चौंकाने वाली है, और उन्हें नहीं लगता कि उनका बेटा ऐसा कर सकता है।
पुलिस की जांच और सुरक्षा व्यवस्था
पुलिस ने इस मामले की गहन जांच की और विभिन्न सुरागों को जोड़ते हुए आरोपियों तक पहुंचने में सफलता हासिल की। पुलिस ने आसपास के क्षेत्र में CCTV कैमरों की जांच की और इसी आधार पर आरोपियों के बारे में अहम जानकारी प्राप्त की। मामले के बाद, पुलिस ने अलकनंदा एन्क्लेव और आसपास के इलाके में सुरक्षा बढ़ा दी है ताकि इस प्रकार की घटनाओं को रोका जा सके।
अशोक कुमार गर्ग की हत्या ने देहरादून में सुरक्षा के मुद्दे को फिर से उजागर किया है। पुलिस ने जल्द ही इस मामले का समाधान किया और आरोपियों को गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में भेजा। यह घटना यह भी दिखाती है कि अपराधियों के बीच धोखाधड़ी और लूट की प्रवृत्तियों ने समाज में असुरक्षा का माहौल बना दिया है। हालांकि, पुलिस की तत्परता और जांच से अपराधी पकड़े गए और पीड़ित को न्याय मिलने की उम्मीद है।