Uttarakhand Crime News: हरिद्वार में 30 लाख के लालच में दोस्तों ने रची हत्या की साजिश
Uttarakhand Crime News: उत्तराखंड के हरिद्वार में एक अजीबो-गरीब हत्याकांड सामने आया है, जिसमें 30 लाख रुपये की लालच में दिल्ली के एक युवक की उसके ही दो दोस्तों ने बेरहमी से हत्या कर दी। तांत्रिक से मिलवाने और सट्टेबाजी का नंबर दिलाने के बहाने इन दोनों ने युवक को हरिद्वार बुलाया और श्यामपुर इलाके में गला दबाकर उसकी हत्या कर दी।
पुलिस ने करीब 10 हजार मोबाइल नंबरों की जांच, 500 से ज्यादा सीसीटीवी कैमरों की निगरानी और हजारों मज़दूरों की पहचान के बाद इस ब्लाइंड मर्डर केस का खुलासा किया।
श्यामपुर इलाके की रावासन नदी में मिला शव
एसएसपी प्रमोद डोबाल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि 24 नवंबर को श्यामपुर इलाके की रावासन नदी में एक युवक का शव बरामद हुआ। गला घोंटकर हत्या करने के बाद उसके चेहरे को पत्थरों से कुचल दिया गया था, ताकि उसकी पहचान न हो सके।
श्यामपुर और हरिद्वार के आस-पास के इलाकों में मृतक की पहचान के लिए कड़ी मेहनत की गई। पुलिस ने मोबाइल नंबरों का डंप डेटा और सीसीटीवी फुटेज की जांच शुरू की।
10 हजार मोबाइल नंबरों और 500 सीसीटीवी कैमरों की जांच से मिला सुराग
पुलिस को मामले की जांच के दौरान कोई ठोस सुराग नहीं मिल रहा था। लेकिन घटना स्थल के पास रावासन कांटे पर लगे एक कैमरे का ध्यान से विश्लेषण किया गया।
रात के समय उस इलाके में पेड़ों पर पड़ने वाली हल्की रोशनी के आधार पर पुलिस ने वाहनों की मूवमेंट का नक्शा तैयार किया। करीब 20 किलोमीटर तक चांदी चौक तक इन वाहनों का पीछा किया गया।
शहर के 500 से ज्यादा सीसीटीवी कैमरों की बारीकी से जांच करने पर एक होटल की पहचान हुई। इसके बाद मृतक की पहचान अभय शर्मा उर्फ हनी के रूप में हुई, जो दिल्ली के मोती नगर के 284 सुदर्शन पार्क का निवासी था।
अभय शर्मा: एक युवक जिसने हाल ही में बेचा था फ्लैट
दिल्ली पुलिस की मदद से अभय शर्मा के बारे में जानकारी जुटाई गई। पता चला कि वह गलत आदतों का शिकार था और अपने परिवार से अलग रहता था। हाल ही में उसने अपना फ्लैट 30 लाख रुपये में बेचा था।
इस बात का पता चलते ही पुलिस ने उसकी हत्या में पैसे के लालच को मुख्य कारण माना और उसकी जान-पहचान के लोगों से पूछताछ शुरू की।
दिल्ली में दोस्त गिरफ्तार: हत्या की गुत्थी सुलझी
पुलिस ने कड़ी मशक्कत के बाद अभय के दोस्त नीरज शुक्ला, जो दिल्ली के विकासपुरी का निवासी है, को गिरफ्तार किया। पूछताछ के दौरान नीरज ने बताया कि उसने अपने दूसरे साथी नागेंद्र के साथ मिलकर इस हत्या की साजिश रची थी।
तांत्रिक से मिलने के बहाने हरिद्वार ले गए
नीरज और नागेंद्र दोनों पेशे से ड्राइवर हैं। दोनों ने अभय को सट्टेबाजी के नंबर दिलाने के बहाने तांत्रिक से मिलने के लिए हरिद्वार बुलाया। लेकिन तांत्रिक से मिलवाने की बजाय उसे श्यामपुर के जंगलों में ले जाकर गला दबाकर उसकी हत्या कर दी।
हत्या के बाद उन्होंने अभय का चेहरा पत्थरों से कुचल दिया ताकि कोई उसकी पहचान न कर सके। इसके बाद वे वहां से फरार हो गए।
मुख्य आरोपी नागेंद्र अब भी फरार
पुलिस के अनुसार, नागेंद्र, जो फरीदाबाद जिले के टिगांव थाना क्षेत्र के भुवापुर गांव का निवासी है, अभी फरार है। पुलिस उसकी तलाश में लगातार छापेमारी कर रही है। एसएसपी प्रमोद डोबाल ने बताया कि नागेंद्र भी नीरज की तरह ड्राइवर है और हत्या की साजिश में शामिल था।
पुलिस की तेज़ कार्रवाई और जांच का परिणाम
हरिद्वार पुलिस ने इस मामले को सुलझाने के लिए कई तकनीकी और खुफिया तरीकों का इस्तेमाल किया।
- मोबाइल डंप डेटा की जांच: पुलिस ने 10 हजार मोबाइल नंबरों का डेटा खंगाला।
- सीसीटीवी फुटेज की जांच: करीब 500 कैमरों की मदद से वाहनों की पहचान की गई।
- मानवीय दृष्टिकोण: हजारों मजदूरों और स्थानीय लोगों से पूछताछ की गई।
जांच में सामने आई बड़ी बातें
- हत्या का कारण: 30 लाख रुपये की लालच।
- प्लानिंग: दोस्ती का इस्तेमाल कर अभय को हरिद्वार बुलाना।
- हत्या का तरीका: गला दबाकर हत्या करना और पहचान छिपाने के लिए चेहरा कुचल देना।
- तकनीकी सहायता: मोबाइल डंप डेटा और सीसीटीवी कैमरों का उपयोग।
लालच और विश्वासघात की खौफनाक कहानी
अभय शर्मा की हत्या ने यह साबित कर दिया कि लालच और गलत संगत किसी को भी खतरनाक रास्ते पर ले जा सकती है। अभय के दोस्तों ने लालच के चलते उसकी बेरहमी से हत्या कर दी।
हरिद्वार पुलिस ने कड़ी मेहनत और तकनीकी कौशल का इस्तेमाल कर इस ब्लाइंड मर्डर केस को सुलझाया। हालांकि, मुख्य आरोपी नागेंद्र की गिरफ्तारी अब भी बाकी है। यह घटना एक बड़ा सबक है कि हमें अपने आसपास के लोगों पर विश्वास करते समय सतर्क रहना चाहिए।