Delhi: स्वाति मालीवाल को राहत, कोर्ट ने 2 से 15 नवंबर तक विदेश जाने की अनुमति दी

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Delhi: दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट ने आम आदमी पार्टी (AAP) की राज्यसभा सदस्य स्वाति मालीवाल को राहत देते हुए उन्हें 2 से 15 नवंबर तक विदेश जाने की अनुमति दी है। यह अनुमति दिल्ली महिला आयोग (DCW) में भर्ती में अनियमितताओं के मामले से संबंधित है। स्वाति मालीवाल ने संयुक्त राष्ट्र में एक कार्यक्रम में भाग लेने और अपनी बहन से मिलने के लिए कोर्ट से अनुमति मांगी थी।

भर्ती में अनियमितताओं के आरोप

स्वाति मालीवाल, जो पूर्व में दिल्ली महिला आयोग की चेयरपर्सन रह चुकी हैं, पर आरोप है कि उन्होंने अपने आधिकारिक पद का दुरुपयोग किया और आयोग में आप से जुड़े लोगों को विभिन्न पदों पर नियुक्त किया। उन्होंने सोमवार को राहत के लिए राउज एवेन्यू कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था। कोर्ट ने मंगलवार को उन्हें विदेश यात्रा की अनुमति दे दी।

केजरीवाल के सहायक के खिलाफ आरोप

मालीवाल ने हाल ही में पूर्व दिल्ली मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के सहायक विभव कुमार के खिलाफ दुर्व्यवहार की शिकायत दर्ज कराई थी। इस शिकायत के आधार पर पुलिस ने कुमार के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की और उन्हें गिरफ्तार कर लिया। मालीवाल ने आरोप लगाया था कि उनके साथ मारपीट की गई और जान से मारने की धमकी दी गई। विभव को सितंबर में तीन महीने से अधिक समय तक न्यायिक हिरासत में रहने के बाद जमानत मिल गई थी।

शीशमहल कॉलोनी की खराब स्थिति पर चिंता

गौरतलब है कि सोमवार को स्वाति मालीवाल ने किराड़ी क्षेत्र में स्थित शीशमहल कॉलोनी का दौरा किया। इस दौरान उन्होंने कॉलोनी की भयावह स्थिति पर चिंता व्यक्त की और कहा कि यदि इसकी स्थिति जल्द नहीं सुधारी गई, तो वह यहां भरे नालों के पानी को टैंकर में भरकर मुख्यमंत्री आवास के बाहर फेंक देंगी। उन्होंने कहा कि स्थानीय निवासियों को खुली नालियों और कई स्थानों पर कचरे के ढेर के कारण अत्यधिक कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है।

दिल्ली महिला आयोग का गठन और भूमिका

दिल्ली महिला आयोग का गठन महिलाओं के अधिकारों और कल्याण के लिए किया गया था। यह आयोग महिलाओं के खिलाफ हो रहे अत्याचारों और भेदभाव के मामलों में तेजी से कार्रवाई करता है। हालांकि, मालीवाल के खिलाफ लगे आरोपों ने आयोग की साख को सवालों के घेरे में डाल दिया है।

मालीवाल का बचाव और राजनीतिक समीकरण

स्वाति मालीवाल ने अपनी सफाई में कहा है कि आरोप निराधार हैं और उन्हें राजनीतिक विद्वेष का शिकार बनाया जा रहा है। AAP में उनके सहयोगियों का कहना है कि यह सब उनके काम के खिलाफ बदले की भावना से किया जा रहा है। स्वाति मालीवाल ने पिछले कुछ समय से महिलाओं के अधिकारों के मुद्दे पर खुलकर आवाज उठाई है और कई बार दिल्ली सरकार को कटघरे में खड़ा किया है।

भविष्य की योजनाएं

अब जब मालीवाल को विदेश यात्रा की अनुमति मिल गई है, तो यह देखना दिलचस्प होगा कि वे वहां क्या कार्य करती हैं और कैसे अपने ऊपर लगे आरोपों का सामना करती हैं। उनके वापस लौटने के बाद, यह देखना भी महत्वपूर्ण होगा कि वे दिल्ली में महिलाओं के अधिकारों के लिए आगे कैसे काम करेंगी।

स्वाति मालीवाल का यह मामला न केवल उनके राजनीतिक करियर के लिए महत्वपूर्ण है, बल्कि यह दिल्ली में महिला आयोग के कार्यों और उसके प्रभाव को भी प्रभावित कर सकता है। उनके द्वारा उठाए गए मुद्दों और उनके कार्यों का असर आने वाले समय में देखने को मिलेगा, विशेष रूप से जब वे अपनी विदेश यात्रा से लौटेंगी।

स्वाति मालीवाल की विदेश यात्रा को लेकर दी गई राहत से यह साबित होता है कि न्यायालय ने उनकी स्थिति को गंभीरता से लिया है। हालांकि, उनके खिलाफ लगे आरोप और दिल्ली महिला आयोग की स्थिति ने राजनीतिक सरगर्मी को बढ़ा दिया है। दिल्ली की राजनीति में यह घटनाक्रम न केवल उनके लिए बल्कि आम आदमी पार्टी के लिए भी एक चुनौती बन सकता है।

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